सिहोरा जिला की मांग को लेकर आज सिहोरा मैं धरना और आमसभा।

 सिहोरा जिला की मांग को लेकर आज सिहोरा मैं धरना और आमसभा।

21 साल पहले उमा भारती ने की थी घोषणा, अब तक नहीं मिला जिला का दर्जा।

सिहोरा,ग्रामीण खबर mp:

सिहोरा को जिला बनाए जाने की वर्षों पुरानी मांग को लेकर आज 6 जून को एक बार फिर सिहोरा वासी सड़क पर उतर रहे हैं। स्थानीय भाजपा नेताओं के घर के बाहर 20 मई से चल रहे शंख-घंटा प्रदर्शन के बाद अब आंदोलन ने बड़ा रूप ले लिया है। आज दोपहर 12 बजे पुराने बस स्टैंड सिहोरा में धरना एवं आमसभा का आयोजन किया गया है, जिसका आह्वान लक्ष्य जिला सिहोरा आंदोलन समिति ने किया है। समिति का कहना है कि जब तक सिहोरा को जिला नहीं बनाया जाता, आंदोलन जारी रहेगा।

सिहोरा को जिला बनाए जाने की मांग कोई नई नहीं है। वर्ष 2001 में तत्कालीन मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने बहोरीबंद, मझौली और ढीमरखेड़ा को मिलाकर सिहोरा जिला बनाए जाने की घोषणा की थी। इसके बाद 11 जुलाई 2003 को सिहोरा जिला का राजपत्र जारी हुआ और 1 अक्टूबर 2003 को कैबिनेट से इसकी मंजूरी भी मिल गई। तमाम विभागीय प्रक्रियाएं पूरी कर ली गईं, इसके बावजूद सिहोरा को जिला का दर्जा अब तक नहीं मिला।

इधर एक संयोग भी सामने आया है। जिस दिन सिहोरा वासी जिला की मांग को लेकर सड़क पर उतर रहे हैं, उसी के अगले दिन यानी 7 जून को मुख्यमंत्री सिहोरा विधानसभा क्षेत्र के छपरा में आ रहे हैं। बीते 15 दिनों से आंदोलन समिति के सदस्य भाजपा नेताओं से मिलकर उनसे जिला मुद्दे पर खुलकर समर्थन मांग रहे हैं। अब देखना यह होगा कि सिहोरा विधायक संतोष बरकड़े मुख्यमंत्री से किस तरह सिहोरा को जिला बनाने की मांग उठाते हैं।

आज के धरना प्रदर्शन में प्रमुख रूप से समिति के अनिल जैन, कृष्ण कुमार कुररिया, नीतेश खरया, संतोष पांडे, सुशील जैन, नवीन शुक्ला, नंदू परोहा, रामजी शुक्ला, मानस तिवारी, अमित बक्शी, जितेंद्र श्रीवास, संतोष वर्मा, विकास दुबे, आशीष भार्गव, अनिल खंपरिया, विजय जानवानी, संजय पाठक, प्रदीप दुबे, नरेंद्र गर्ग, मोहन सोंधिया, कंचन सेठ सहित अन्य नेताओं ने सभी नागरिकों से दोपहर 12 बजे पुराने बस स्टैंड पर एकत्र होने की अपील की है।


प्रधान संपादक:अज्जू सोनी,ग्रामीण खबर MP
संपर्क सूत्र:9977110734

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