सिलौंडी की गलियों में गहराया अंधेरा,महीनेभर से बंद स्ट्रीट लाइटों पर ग्रामीणों में रोष।
ग्राम सभा में भेजी गई 100 खंभे वाली नई लाइटें पंचायत भवन में कैद,80 लाख विकास फंड के बावजूद गांव के बुनियादी कार्य ठप।
सिलौंडी,ग्रामीण खबर MP।
सिलौंडी गांव इन दिनों घोर अंधकार से जूझ रहा है। गांव की गलियों में पिछले एक महीने से स्ट्रीट लाइटें बंद पड़ी हैं, जिससे रात होते ही पूरा इलाका अंधेरे में डूब जाता है। अंधेरे की इस स्थिति से ग्रामीणों में पंचायत के प्रति भारी नाराज़गी व्याप्त है। इसी समस्या को गंभीरता से उठाते हुए उपसरपंच राहुल राय ने कलेक्टर जनसुनवाई में स्ट्रीट लाइट बंद होने की शिकायत दर्ज कराई, लेकिन अब तक कोई ठोस कदम उठता नहीं दिख रहा।
ग्रामीणों के मुताबिक 2 अक्टूबर 2025 को आयोजित ग्राम सभा के दौरान जिला पंचायत सदस्य कविता पंकज राय ने सिलौंडी पंचायत में प्रकाश व्यवस्था सुधारने के लिए चार माह की उधारी पर 100 बड़ी खंभे वाली स्ट्रीट लाइटें उपलब्ध कराने का प्रस्ताव रखा था। प्रस्ताव पारित होने के बाद 5 अक्टूबर को सभी 100 लाइटें कटनी से सिलौंडी भेज दी गईं। इसके बावजूद डेढ़ महीने से अधिक समय बीत गया, लेकिन ये लाइटें पंचायत भवन में ही पैक होकर पड़ी हैं। जिम्मेदार अधिकारी और सरपंच इन्हें गांव में लगाने की दिशा में किसी प्रकार की पहल नहीं कर रहे हैं, जिससे ग्रामीणों में बेचैनी और असंतोष लगातार बढ़ रहा है।
रात के समय अंधेरा होने से चोरी जैसी घटनाओं की आशंका भी बढ़ गई है। ग्रामीणों का कहना है कि ठंड के मौसम में चोर अक्सर अंधेरे का फायदा उठाते हैं। गांव की गलियों में रोशनी न होने से किसानों, बुजुर्गों और महिलाओं के लिए आवागमन बेहद जोखिम भरा बन गया है। कई बार महिलाओं को आवश्यकता पड़ने पर रात में बाहर निकलना पड़ता है, लेकिन अंधेरा असामाजिक तत्वों के सक्रिय होने का अवसर बन जाता है, जिससे सुरक्षा का खतरा और बढ़ जाता है।
ग्रामवासियों ने गांव की अन्य समस्याओं की ओर भी ध्यान आकर्षित किया। बताया गया कि पंचायत के सरकारी खाते में लगभग 80 लाख रुपये का विकास फंड उपलब्ध है, लेकिन इसके बावजूद गांव में किसी भी प्रकार का विकासकार्य देखने को नहीं मिलता। गांव की कई नालियां जर्जर हालत में हैं, अनेक मार्गों पर सीसी रोड का निर्माण अधूरा है, और कई बस्तियों में मूलभूत सुविधाओं का अभाव साफ दिखाई देता है। विकास फंड की मौजूदगी के बावजूद कार्यों का न होना ग्रामीणों के लिए सबसे बड़ा सवाल बन गया है।
ग्रामीणों का कहना है कि इतने बड़े फंड के बाद भी गांव अंधेरे में डूबा रहे और सड़क, नाली व प्रकाश जैसी मूलभूत सुविधाएं ठप रहें, यह अत्यंत निराशाजनक है। जनप्रतिनिधियों और पंचायत जिम्मेदारों की उदासीनता का खामियाजा आम लोगों को हर दिन भुगतना पड़ रहा है।
सिलौंडी के निवासियों ने प्रशासन से मांग की है कि जल्द से जल्द पंचायत भवन में पड़ी 100 स्ट्रीट लाइटें गांव में लगवाई जाएं और अन्य विकास कार्यों को तत्काल प्राथमिकता दी जाए। ग्रामीणों का कहना है कि जब तक प्रकाश व्यवस्था और आधारभूत सुविधाएं दुरुस्त नहीं होंगी, तब तक गांव में सुरक्षा और सुविधा दोनों प्रभावित रहेंगी। ग्रामीणों ने चेतावनी दी है कि यदि जल्द कार्रवाई नहीं हुई तो वे सामूहिक रूप से आंदोलन का रास्ता अपनाने को बाध्य होंगे।
ग्रामीण खबर MP-
जनमानस की निष्पक्ष आवाज
प्रधान संपादक:अज्जू सोनी |संपर्क:9977110734
